फार्मर रजिस्ट्री शिविरों का आयोजन 5 फरवरी से, प्रत्येक ग्राम पंचायत पर तीन दिवस
भरतपुर, 03 फरवरी। भारत सरकार द्वारा संचालित एग्रीस्टेक योजना के अन्तर्गत डिजिटल पब्लिक इन्फ्रास्ट्रक्चर उपलब्ध कराने के उद्देश्य से किसानों के लिये व्यापक एवं एकीकृत रजिस्ट्री डाटाबेस बनाने का कार्य किया जायेगा। जिसके अन्तर्गत प्रत्येक किसान की कृषि भूमि का डाटाबेस बनाने के लिये राज्य में 05 फरवरी से 31 मार्च तक तीन चरणों में फार्मर रजिस्ट्री शिविरों का आयोजन प्रत्येक ग्राम पंचायत पर होगा।
जिला कलक्टर डॉ० अमित यादव ने बताया कि भरतपुर जिले में प्रथम चरण में 05 फरवरी से 07 फरवरी तक आठों तहसीलों में तीन दिवसीय शिविरों का आयोजन किया जावेगा। इनमें भरतपुर तहसील में राजीव गांधी सेवा केन्द्र मलाह, तहसील नदबई में राजीव गांधी सेवा केन्द्र अटारी, तहसील बयाना में राजीव गांधी सेवा केन्द्र हरनगर एवं वीरमपुरा में 6 से 8, तहसील वैर में राजीव गांधी सेवा केन्द्र गोबिन्दपुरा, तहसील रूपबास में राजीव गांधी सेवा केन्द्र मैरथा, तहसील रुदावल में राजीव गांधी सेवा केन्द्र माडापुरा, तहसील उच्चौन में राजीव गांधी सेवा केन्द्र फतेहपुर में तीन दिवसीय ग्राम पंचायत स्तरीय शिविरों का आयोजन होगा। उक्त शिविरों में ग्राम पंचायत के अन्तर्गत आने वाली समस्त कृषि भूमि के कृषकों का पंजीयन कर 11 नम्बरों की फार्मर आई.डी. बनायी जायेगी, जो कि किसान के आधार से लिंक होगी। इन शिविरों में फार्मर रजिस्ट्री हेतु आने वाले कृषकों को अपने साथ आधार से लिंक मोबाईल फोन नम्बर मय मोबाईल फोन, आधार कार्ड एवं अद्यतन जमाबन्दी की प्रतिलिपी लाना अनिवार्य होगा। फार्मर आई.डी. में किसान के स्वामित्व वाले समस्त खसरा नम्बर में किसान का हिस्सा, रकबा आदि दर्ज होगा। यह फार्मर आई.डी. कृषक के आधार से लिंक होने के कारण उसके द्वारा धारित कृषि भूमि का सही और अद्यतन डाटाबेस तैयार होगा।
जिला कलक्टर ने बताया कि इससे प्रत्येक कृषक के कल्याण के लिये संचालित केन्द्र सरकार एवं राज्य सरकार की समस्त योजनाओं का लाभ शीघ्रता एवं सुगमता से प्राप्त हो सकेगा। जिला कलक्टर ने जिले की समस्त किसानों से अपील की है, कि वे अधिक से अधिक संख्या में इन शिविरों में पहुंचकर पंजीयन करावें। जिससे भविष्य में केन्द्र व राज्य सरकार की योजनाओं का पारदर्शी एवं समयबद्ध तरीके से लाभ मिल सके।
- कोशलेन्द्र दत्तात्रेय