लक्ष्मणगढ़ उपखंड क्षेत्र मे बीमारियां बांट रहा भूजल में फ्लोराइड
लक्ष्मणगढ़ (अलवर/ कमलेश जैन)पिछले कुछ वर्षो से अनेक रिपोर्टों में यह स्वीकार किया गया कि भूजल में जहरीली धातुओं की मात्रा निर्धारित मानकों से अधिक कस्बे सहित उपखंड क्षेत्र के भूजल में पाई गई है। इसके बावजूद शुद्ध पानी के लिए सरकार द्वारा कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया जो बेहद चिंताजनक है। पानी का जलस्तर नीचे चले जाने से पानी में फ्लोराइड के अलावा अनेक तत्व मिल रहे हैं ।यह भी स्वीकार किया है कि रसायनों याधातुओं का मानव शरीर और स्वास्थ्य पर बहुत गंभीर विषाक्त प्रभाव पड़ता है। और स्वास्थ्य केलिए खतरा पैदा होता है।
इससम्बन्ध में केंद्रीय भूजल प्राधिकरण ने एक रिपोर्ट सौंपी है, जिसमें उसने जिलों और राज्यों में फ्लोराइड की मौजूदगी की बात मानी है। रिपोर्ट में कहा गया कि जिलों के कुछ हिस्सों में फ्लोराइड पाया गया।इससे पूर्व गत वर्ष भारत सरकार ने संसद में स्वीकार किया है कि आज हम जो पानी पी रहे हैं। वह जहर बनगया है। सरकार ने जो आंकड़े दिए थे वो न सिर्फ चौकाने वाले हैं बल्कि डराने वाले भी हैं। जहांभूजल में जहरीली धातुओं की मात्रा निर्धारित मानकों से अधिक पाई गई है।
हालत यह हो गई है की लोग धीमे जहर वाले पानी को पीने के लिए विवश हैं। सरकार का दावा है कि केंद्रीयभूजल बोर्ड की रिपोर्ट के आधार पर इस चुनौती से निपटने के लिए संदूषित भूजल की समस्या और विशुद्धजल के सेवन से प्रभावित नागरिकों के उपचार के लिए जागरूकता और जलजनित बीमारियों की रोकथामके लिए योजनाएं भी चलाई जा रही हैं। कस्बे लक्ष्मणगढ़ में पिछले वर्षों से जलदाय प्रदाय विभाग द्वारा खारे एवं फ्लोराइड युक्त पानी की सप्लाई की जा रही है ।जिससे अनेक रोगों को बढ़ावा मिल रहा है। पानी का दूषित होना आमजन के स्वास्थ्य और अर्थव्यवस्था को प्रभावित कर रहा है। सरकार को शीघ्र ही इस ओर कदम उठाने की आवश्यकता है।