खैरथल क्षेत्र के खेतों में कातरा कीट का प्रकोप, सैकड़ों बीघा की फसल नष्ट
खैरथल (हीरालाल भूरानी)
खैरथल क्षेत्र के खेतों में इन दिनों कातरा रोग से सैकड़ों बीघा बाजरा की फसल में कीट चट कर गए। वहीं ग्रामीण इन कीटों के आतंक से इतने परेशान हो गए हैं। उनके घरों में में भी ये कीट आकर हमला करने से नहीं चूक रहे हैं। जी एक्सप्रेस संवाददाता को सिवाना ग्राम के ग्रामीणों ने अपनी पीड़ा बताई। संवाददाता ने ग्रामीणों की बताई जगह पर जाकर देखा तो सुबह तेज धूप होने से पहले पूरे रास्ते में भारी मात्रा में कीट दिखाई दिए। खेतों में किसानों ने मेहनत से महंगें भावों के बीज खरीद कर बिजाई फसल में पिछले माह हुई बरसात के बाद से यह कीट पनपा है।
ग्रामीणों ने बताया कि शुरुआत में यह कीट मिट्टी के रंग जैसा होने व छोटा होने की वजह से किसी ने ध्यान नहीं दिया। अब यह कीट अपने पूरे यौवन पर आकर फसल के पत्तों को खा रहा है।कई खेतों में में तो पौधों के केवल छोटे - छोटे ठूंठ रह गए हैं। ग्रामीणों ने बताया कि इस बारे में कृषि विभाग के अधिकारियों को सूचित भी किया लेकिन आज तक कोई छोटा सा कर्मचारी भी देखने नहीं पहुंचा। उधर, सिवाना ग्राम की महिलाओं ने बताया कि इस कीट के घास फूस के साथ घरों में प्रवेश करने से लोग भी परेशान हैं। जिसके काटने से पूरे शरीर में खुजली व दर्द होने लगता है। सिवाना ग्राम के सरपंच प्रतिनिधि फारूक खान,रामचंदर, सुरेश वकील रत्तीराम, मुकेश नेता, छोटे लाल पंच, सुन्दर लाल, अजयपाल, रमेश,कमल, अशोक, रामसजीवन आदि ग्रामीणों ने बताया कि यह समस्या केवल हमारे गांव में ही नहीं बल्कि बल्लभग्राम,निभेड़ा,सेनपुरी,भुराड़ी,घाटला आदि गांवों तक की फसलों में साठ से नब्बे प्रतिशत खराब हो चुकी है। ग्रामीणों ने बताया कि जिला कलेक्टर को ज्ञापन सौंपकर फसल खराबे की रिपोर्ट मंगवाने सहित किसानों को आर्थिक सहायता मुहैया कराने की मांग की जाएगी।
इनका कहना है -
इस संबंध में कृषि उप निदेशक राजेंद्र बसवाल ने बताया कि हमारे पास सिवाना आदि गांवों में कातरा कीट की जानकारी है।यह कीट ज्वार व बाजरा की फसल को नुक्सान पहुंचा रहा है। ग्रामीणों को सलाह दी जा रही है।इन कीटों पर क्यूनाल फाॅस 25 ई सी का एक टंकी पानी में 15 एम एल लगभग एक बीघा में स्प्रे करें। यदि दोबारा आवश्यकता हो तो दस पन्द्रह दिनों के बाद लमवा साईलोथीन का स्प्रे करें।