गोविंदगढ़ प्रधान के बाद अब मनोनीत उपप्रधान के पद पर भी हाईकोर्ट का स्थगन
गोविंदगढ़ पंचायत समिति में राजनीतिक उथल-पुथल जारी है गोविंदगढ़ क्षेत्र में लोगों में यह बात चर्चा का विषय बनी हुई है कि बड़ौदामेव और गोविंदगढ़ मैं नगरपालिका बनने के बाद जहां सरपंच को चेयरमैन उपसरपंच को वाइस चेयरमैन और पंचों को पार्षद नियुक्त किया गया था वही पंचायत समिति सदस्यों को क्यों राजस्थान की कांग्रेस सरकार के द्वारा हटाया गया।
गोविंदगढ़,अलवर
गोविंदगढ़ पंचायत समिति में मनोनीत प्रधान के बाद अब मनोनीत उपप्रधान के पद पर भी राजस्थान हाईकोर्ट ने स्थगन आदेश जारी किए
उपप्रधान कृष्णकांत जैन पंचायती राज विभाग के गोविंदगढ़ को नगर पालिका बनाने के बाद उप प्रधान मनोनीत करने के 2 फरवरी के आदेश को राजस्थान हाईकोर्ट में चुनौती दी थी राजस्थान हाई कोर्ट ने 2 फरवरी को मनोनीत किए उप प्रधान के आदेशों पर स्थगन दिया है और पंचायत राज विभाग से 2 सप्ताह में इसका जवाब मांगा है गौरतलब गोविंदगढ़ और बड़ौदामेव नगरपालिका बनने के बाद पंचायती राज विभाग ने निर्वाचित प्रधान और उपप्रधान को शून्य बताते हुए प्रधान,उपप्रधान को मनोनीत कर दिए थे जिसके बाद प्रधान रसनम चौधरी ने पूर्व में राजस्थान हाईकोर्ट से स्टे लाकर पंचायत समिति में पदभार ग्रहण करने के लिए पहुंची जी ने पदभार ग्रहण करने को लेकर विकास अधिकारी ने जिला परिषद से मार्गदर्शन मांगा था वहीं सीओ ने उच्च अधिकारियों से मार्गदर्शन मांगा ।
हाईकोर्ट के द्वारा प्रधान और उपप्रधान के पदों पर स्थगन आदेश जारी कर दिए गए हैं गोविंदगढ़ पंचायत समिति में राजनीतिक उथल-पुथल जारी है गोविंदगढ़ क्षेत्र में लोगों में यह बात चर्चा का विषय बनी हुई है कि बड़ौदामेव और गोविंदगढ़ मैं नगरपालिका बनने के बाद जहां सरपंच को चेयरमैन उपसरपंच को वाइस चेयरमैन और पंचों को पार्षद नियुक्त किया गया था वही पंचायत समिति सदस्यों को क्यों राजस्थान की कांग्रेस सरकार के द्वारा हटाया गया। अब देखने वाली बात यह होगी कि आगे राजनीतिक दंगल में यहां क्या दांवपेच देखने को यहां मिलेंगे।